सेंटर फॉर रिसर्च ऑन एनर्जी एंड क्लीन एयर (CREA) के नए शोध के अनुसार, HSBC बैंक के स्वामित्व हिस्सेदारी वाली कंपनियों द्वारा निर्मित और नियोजित नए कोयला संयंत्रों से प्रति वर्ष वायु प्रदूषण अनुमानित 18,700 मौतों का कारण बनेगा। दूसरे शब्दों में, हर रोज़ लगभग 51 लोगों की मौतों का कारण बनेंगे ये संयंत्र।इन कोयला संयंत्रों…
Tag: air pollution
इधर रिन्यूएबल ऊर्जा वित्तपोषण में गिरावट भारी, उधर कोयला बिजली का वित्तपोषण जारी
ऑक्सफ़ोर्ड यूनिवर्सिटी के ताज़ा शोध नतीजे बताते हैं कि जहाँ एक और वैश्विक स्तर पर कोयला खादानों और कोयला बिजली परियोजनाओं के वित्तपोषण में लगातार भारी बढ़त हो रही है वहीँ रिन्युब्ल ऊर्जा से जुड़े ऋण और वित्तपोषण में लगातार गिरावट हो रही है। दुनिया की इस अग्रिणी यूनिवर्सिटी के सस्टेनेबल फाइनेंस प्रोग्राम के एक नए अध्ययन…
प्रदूषण मुक्त स्वास्थ्य व्यवस्था के लिये जारी हुआ वैश्विक रोड मैप
स्वास्थ्य क्षेत्र को पैरिस समझौते के तहत वैश्विक तापमान में वृद्धि को 1.5 डिग्री सेल्सियस से नीचे रखने के महत्वाकांक्षी लक्ष्य के अनुरूप बनाने के लिये अपनी तरह के पहले मार्गदर्शक निर्देश प्रदूषण से पूरी तरह मुक्त स्वास्थ्य व्यवस्था के लिये, हेल्थ केयर विदआउट हार्म और अरूप नामक संस्थाओं ने एक रोड मैप जारी किया…
कार्बन-सघन वस्तुओं के आयात को दंडित करेगा यूरोपीय संघ, प्रस्तावित नियम को लेकर विशेषज्ञों में संशय
जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए सबसे महत्वाकांक्षी सरकारी योजनाओं में से एक, यूरोपीय संघ की ग्रीन डील साल 2050 तक यूरोपीय देशों के इस समूह की अर्थव्यवस्था को नेट ज़ीरो उत्सर्जन तक पहुँचाने के उद्देश्य से बनी नीतियों का एक सेट है। यह अपनी तरह की एक अनूठी और पहली पहल है। लेकिन किसी…
भारत का नेट-ज़ीरो होना संभव, लेकिन जटिल भी!
जिस जलवायु परिर्वतन को अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन के दौरान ठंडे बस्ते में डाल दिया गया था, उसे जो बिडेन के नेतृत्व में अमेरिका की ओर से दुनिया की सबसे बड़ी प्राथमिकता के रूप में प्रस्तुत किया जा रहा है। इसी सिलसिले में जॉन केरी, जो कि जो बाइडेन के क्लाइमेट दूत हैं, तीन…
ट्रम्प के नेतृत्व में ओबामा काल से ज़्यादा कोयला बिजली प्लांट हुए रिटायर
भले ही डोनाल्ड ट्रम्प पेरिस समझौते से अमेरिका को बाहर निकालने के लिए पर्यावरण विरोधी कहे जाते हों, लेकिन ताज़ा आंकड़े बताते हैं कि बराक ओबामा के आख़िरी शासन काल के मुकाबले ट्रम्प के शासन काल में ज़्यादा क्षमता के कोयला बिजली संयंत्रों को रिटायर किया गया।वहीँ चीन में साल 2020 में 38.4 गीगावॉट के…
कारोबार पर जलवायु परिवर्तन का असर साफ़ ज़ाहिर, डीकार्बोनाइज़ेशन के लिए समय मुफ़ीद
भारत का प्रवेश द्वार कहा जाने वाला राज्य महाराष्ट्र भारत के सबसे बड़े वाणिज्यिक और औद्योगिक केंद्रों में से एक है। इस राज्य ने देश के सामाजिक और राजनीतिक विकास और बदलाव में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।फ़िलहाल ये राज्य कोविड से जूझता नज़र आ रहा है लेकिन इस बीच यहाँ से जलवायु परिवर्तन के ख़िलाफ़ लड़ाई के सन्दर्भ…
पर्यावरण की बेहतरी के नाम पर कहीं कार्बन न्यूट्रल एलएनजी छलावा तो नहीं?
आजकल आयल और गैस के क्षेत्र में एक नया ट्रेंड जोर पकड़ रहा है। और ये है कार्बन न्यूट्रल एलएनजी का। शेल और गैज़प्रोम जैसी कम्पनियों ने यूरोप में पहला कार्बन न्यूट्रल एलएनजी कार्गो बेचने का दावा भी किया है। उधर जापान में 15 गैस खरीदारों ने इस ईंधन की खरीद को बढ़ावा देने के…
रिन्युब्ल एनेर्जी के बैटरी स्टोरेज को व्यावहारिक बनाने की स्पष्ट नीति जरूरी
परम्परागत कोयला बिजलीघरों के कारण बढ़ते प्रदूषण से उत्पन्न चिंताओं के बीच वैश्विक स्तर पर आशा की किरण के रूप में उभरी सौर और वायु ऊर्जा अपने साथ कुछ चुनौतियां भी लेकर आयी है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस प्रकार की अक्षय ऊर्जा के स्टोरेज और उसके समझदारी से इस्तेमाल की स्पष्ट नीति नहीं…
जलवायु आपातकाल रोकने के लिए CO2 उत्सर्जन कटौती दर में दस गुना वृद्धि ज़रूरी
भले ही तमाम देश कार्बन उत्सर्जन में कटौती का दम भर रहे हैं , लेकिन असलियत ये है कि उनकी इस कटौती की दर में दस गुना बढौतरी की ज़रूरत है। दरअसल एक नए शोध से पता चलता है कि भले ही 2016-2019 के दौरान 64 देशों ने अपने CO2 उत्सर्जन में ख़ासी कटौती की, लेकिन जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए पेरिस समझौते…