निशान्त बाज़ार और बाज़ारवाद!अमूमन लोग इन दोनों शब्दों को एक सा मान लेते हैं और इनके बीच के फ़र्क़ को मामूली मानते हैं। ठीक वैसे ही, जैसे हिन्दू होना और हिंदुत्व की बात करना, एक माना जाता है। बाहरहाल, हिन्दू और हिंदुत्व के फ़र्क़ पर चर्चा फिर कभी।अब वापस आते हैं बाज़ार और बाज़ारवाद के…