एक अध्ययन से पता चलता है कि कार्बन उत्सर्जन में तात्कालिक तौर से कटौती न करने की वजह से G20 देशों को जलवायु परिवर्तन के प्रभावों का सामना करना पड़ रहा है, और करना पड़ेगा। इस नए अध्ययन में , G20 क्लाइमेट इम्पैक्ट्स एटलस वैज्ञानिक अनुमानों को एकत्रित करता है कि आने वाले वर्षों में दुनिया के सबसे अमीर…
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जलवायु विज्ञान से जुडी कहानियाँ
जलवायु संकल्पों को कर दरकिनार, आर्कटिक के तेल उद्योग में झोंके जा रहे हैं अरबों डॉलर लगातार
तेल और गैस कंपनियां अगले पांच वर्षों में, आर्कटिक क्षेत्र में अपने उत्पादन में 20 प्रतिशत की वृद्धि करने की तैयारी में हैं। और यह तब है जब इन कम्पनियों में से अधिकांश उस प्रान्त में फॉसिल फाइनेंसिंग को सीमित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं और संयुक्त राष्ट्र ने चेतावनी भी दी है कि आर्कटिक में तापमान वृद्धि…
वैश्विक वायु गुणवत्ता के नये दिशानिर्देश हुए जारी, लागु हुए तो बचेंगी लाखों जानें
वर्तमान वायु प्रदूषण के स्वीकार्य स्तरों को नये दिशानिर्देशों में प्रस्तावित स्तरों तक कम किया जाए तो दुनिया में PM₂.₅ से संबंधित लगभग 80% मौतों को टाला जा सकता है। साल 2005 के बाद पहली बार विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने अपने वायु गुणवत्ता दिशानिर्देशों में संशोधन कर नये दिशानिर्देश जारी किये हैं। यह वायु गुणवत्ता दिशानिर्देश वायु प्रदूषण के स्वास्थ्य प्रभावों…
हवा की गुणवत्ता का कृषि पर भी सीधा प्रभाव
एक नए अध्ययन, जिसमें जलवायु, हवा की गुणवत्ता और कृषि के बीच अंतर संबंधों तथा जन स्वास्थ्य पर उन सभी के संयुक्त प्रभाव को खंगालने के लिए शोध किया गया है, से चलता है कि वायु गुणवत्ता का प्रभाव हमारी कृषि पर भी पड़ता है और इसी क्रम में हमारे स्वास्थ्य पर भी इसका प्रतिकूल प्रभाव पड़ता…
जलवायु संकट और कोविड ने मिलाया हाथ, 140 मिलियन लोग झेल रहे एक साथ
चरम मौसम की घटनाओं और महामारी ने न सिर्फ एक साथ लाखों लोगों को बुरी तरह प्रभावित किया है, बल्कि जलवायु और कोविड संकट के संयोजन ने रिलीफ़ (राहत-सहायता प्रतिक्रिया) प्रयासों में बाधा डालने के साथ-साथ ‘अभूतपूर्व’ मानवीय ज़रूरतें पैदा की हैं। यह कहना है इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ रेड क्रॉस एंड रेड क्रिसेंट सोसाइटीज़ (IFRC) की एक रिपोर्ट…
अगले तीन दशक में 21.6 करोड़ लोग हो जायेंगे देश से पलायन को मजबूर
अगले दस सालों में ही शुरू हो सकता है देश में आंतरिक पलायन का सिलसिला विश्व बैंक की आज जारी हुई ग्राउंड्स वेल रिपोर्ट में पाया गया है कि जलवायु परिवर्तन दुनिया भर में लोगों के विस्थापन का एक बड़ा कारण बनता जा रहा। इस बात की गम्भीरता का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा…
चार में से एक ट्रेन सौर पैनलों की डायरेक्ट सप्लाई से दौड़ सकती है
भारत के 2 अरब यात्री उत्सर्जन मुक्त/सौर ऊर्जा से चलने वाली ट्रेनों में यात्रा कर सकते हैं प्रधान मंत्री मोदी ने हाल ही में घोषणा की है कि भारत में रेलवे का विद्युतीकरण तेज़ी से आगे बढ़ रहा है, और भारतीय रेलवे के लिए लक्ष्य 2030 तक नेट-ज़ीरो कार्बन उत्सर्जक बनना है। विद्युतीकरण, ऊर्जा दक्षता…
जलवायु परिवर्तन ने अत्यधिक वर्षा की संभावना को 9 गुना तक बढ़ा दिया है – अध्ययन
जलवायु वैज्ञानिकों की एक अंतरराष्ट्रीय टीम द्वारा एक रैपिड एट्रिब्यूशन अध्ययन में पाया गया है कि जलवायु परिवर्तन ने अत्यधिक वर्षा की घटनाओं की संभावना को 1.2 से 9 गुना अधिक बढ़ा दिया है। हाल ही में जर्मनी, बेल्जियम और पड़ोसी देशों में पिछले महीने आयी विनाशकारी बाढ़ इसी का नतीजा है। रैपिड एट्रिब्यूशन अध्ययन…
किगाली संशोधन को मंज़ूरी के साथ एक बार फिर दिखाया भारत ने नेतृत्व
मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल में किगाली संशोधन हाइड्रोफ्लोरोकार्बन (एचएफसी) की खपत और उत्पादन को धीरे-धीरे कम करने के लिए एक अंतरराष्ट्रीय समझौता है। इस प्रोटोकॉल में अकेले सदी के अंत तक वातावरण के 0.5 डिग्री गर्म होने से बचने की क्षमता है। जलवायु परिवर्तन के ख़िलाफ़ वैश्विक जंग में एक बार फिर भारत ने नेतृत्व दिखाते हुए, मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल में किगाली…
इन 20 देशों की 73 फ़ीसद जनता मानती है पृथ्वी महाविनाश के मुहाने पर
आईपीसीसी की ताज़ा रिपोर्ट ‘कोड रेड’ के बाद आज ग्लोबल कॉमंस अलायंस ने द ग्लोबल कॉमन्स सर्वे: एटिट्यूड टू प्लेनेटरी स्टीवर्डशिप एंड ट्रांसफॉर्मेशन अमंग जी20 कंट्रीज़ नाम की एक रिपोर्ट जारी की है। दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं वाले 20 देशों के 73 फीसद लोग मानते हैं कि इंसान की हरकतों की वजह से दुनिया एक…